बारिश और मैं ..................
मुझे बारिश बहुत पसंद है हर बार जब बारिश होती है तब एक अलग सा सुकून होता है। बचपन की बहुत सारी यादें ताजा हो जाती हैं। इस बार तो दिल्ली में बस नाम की बारिश हुई है। ऊपर से अभी भी इतनी ऊमस और गरमी बनी हुई है। लग ही नहीं रहा की सावन का महीना है पिछले २ दिन यहां बारिश हुई परन्तु यहां की बारिश में वो बात कहां जो मेरे गावं में होती थी। आज में अपनी बारिश की यादें शेयर कर रही। दरअसल इन ४ महीनो के लॉक डाउन में सब कुछ बोरिंग होने लगा है अब इसलिए आज पुराने दिनों में जाने की इच्छा हो रही फिर से। .... " बूंदों से बना हुआ छोटा सा समुन्दर , लहरों से भीगती छोटी सी बस्ती। चलो ढूंढे बारिश में दोस्ती की यादें , हाथ में लेकर एक कागज़ की कश्ती। " बात तब की है जब मैं ८ वीं कक्षा में थी और हर बार की तरह इस बार भी गर्मी की छुट्टियों में, मैं और मेरा भाई पूरे २ महीने स्कूल के खुलने तक दादी के साथ ही रहे थे हमारे पुराने ओडिशा के गावं साहसपुर में। पहाड़ों के नीचे बसा छोटा सा ,सुन्दर सा ग